राष्ट्र आजकल प्रतिनिधि। पौराणिक मान्यताओं के मुताबिक प्रदोष व्रत का पालन करने से सभी सुखों की प्राप्ति होती है। हर माह आने वाली शुक्ल और कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को प्रदोष व्रत रखा जाता है। इस बार शुक्ल पक्ष का प्रदोष व्रत 14 फरवरी को है। सोम प्रदोष व्रत का पालन करने से न केवल भगवान शिव को प्रसन्न किया जा सकता है, बल्कि उनकी सभी मनोकामनाएं भी पूरी की जा सकती हैं। इस बार प्रदोष व्रत पर विशेष बात यह है कि प्रदोष व्रत के दिन 3 शुभ योग बन रहे हैं। प्रदोष व्रत के दिन सिद्धि योग, रवि योग और आयुष्मान योग बन रहा है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार प्रदोष व्रत में भगवान शिव की पूजा की जाती है। 14 फरवरी को सुबह 11.53 बजे रवि योग शुरू होगा और 15 फरवरी को सुबह 7:00 बजे समाप्त होगा।इसमें स्नान करने के बाद लाल या गुलाबी रंग के कपड़े पहनना चाहिए। उसके बाद भगवान शिव को तांबे या चांदी के कमल में बेलपत्र, भांग, लाल चंदन, शहद/गन्ने का रस और शुद्धनजली अर्पित करना है। इसके साथ ही ओम सर्वसिद्धि प्रदाय नमः इस मंत्र का एक बार जाप करें।