राष्ट्र आजकल प्रतिनिधि। घबराना या मतली आना एक सामान्य स्थिति है, इस आभास को नॉशिया कहा जाता है। नॉशिया की स्थिति कई कारणों से हो सकती है। हालांकि बार-बार महसूस होने वाली इस समस्या को लेकर सतर्कता बरतने की आवश्यकता होती है। ध्यान न देने पर यह स्थिति शरीर के अंदरूनी अंगों पर बुरा असर डाल सकती है और गम्भीर रूप भी ले सकती है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों के मुताबिक नॉशिया दिमाग से शुरू होने वाली स्थिति है। मतलब यह एहसास शरीर की बजाय दिमाग से ट्रिगर होता है। वैसे तो उल्टी को आने से नहीं रोका जा सकता लेकिन इसके एहसास को नियंत्रित किया जा सकता है। यही कारण है कि सफर के दौरान खट्टी गोलियां चूसने जैसे उपाय आजमाए जाते रहे हैं, ताकि जी न घबराए। नॉशिया की स्थिति को कई चीजें ट्रिगर कर सकती हैं। इसमें सामान्य संक्रमण से लेकर किसी प्रकार की सर्जरी, पेट सम्बन्धी रोग, कोई दवाई, कैंसर का ट्रीटमेंट, हार्मोन सम्बन्धी कोई अनियमितता, फ़ूड एलर्जी या गर्भवस्था के कारण आपको इसका एहसास हो सकता है। आइए जानते हैं कि इससे बचाव के कौन से उपाय असरदार हो सकते है शरीर में पानी की जरूरत हमेशा ही होती है। केवल पानी या तरल पदार्थ ही नहीं, पर्याप्त पोषण भी शरीर के लिए जरूरी होता है। नॉशिया की स्थिति में भी यह संतुलन बनाए रखना आवश्यक माना जाता है। चूंकि इस स्थिति में खाना-पीना एक चुनौती हो सकती है। इसलिए ऐसी चीजों का चुनाव जरूरी है जो पोषण भी दें और फायदेमंद भी हों। मतली-उल्टी से बचाव के लिए इन बातों का रखें ध्यान , भोजन के साथ कुछ अन्य बातों का भी ध्यान रखें।
मुंह की साफ सफाई का ध्यान रखें। माउथवॉश का प्रयोग करें।
खाने के तुरन्त बाद सोएं या लेटे नहीं। कम से कम आधा घण्टे बाद सोने जाएं भोजन और तरल दोनों कम कम मात्रा में बार-बार लें। लगभग हर 2-3 घण्टे के अंतराल से थोड़ा कुछ खाएं या तरल पदार्थ का सेवन करें।