गांव की जब बसाहट हुई थी उस वक्त यहां पथरीली सड़क का निर्माण हुआ था। उसके बाद से आज तक एक पत्थर सड़क पर नहीं लगा। बरसात के दिनों पंचायत और शहपुरा तक जाने वाला मार्ग दलदल में तब्दील हो जाता है। गांव में 250 लोग निवासरत हैं और सभी ने विधायक-सरपंच और जनपद के अधिकारियों को लिखित में आवेदन दिया पर आज तक उनकी समस्याओं का हल नहीं निकला।

जबलपुर (राष्ट्र आजकल प्रतिनिधि): मूलभूत समस्याओं से परेशान ग्रामीण, आजादी के 70 साल बीत गए लेकिन देश के कई ग्रामीण क्षेत्रों के हालात आज भी गुलामी से बदतर हैं। ऐसा ही एक गांव है शहपुरा जनपद की ग्राम पंचायत उमरिया के अंतर्गत आने वाला कटीला गांव। 40 साल से गांव में सड़क नहीं हैं।
यहां के ग्रामीण अपने आप को अभिषप्त महसूस करते हैं। ग्रामीणों की हालत यह है कि बरसात आने के पहले लोग 4 माह का राशन एकत्र गांव में ही रहते हैं। क्योंकि इन दिनों ग्रामीणों का गांव से निकलना संभव ही नहीं होता।
गर्मी के मौसम में पानी किल्लत रहती है तो खेती करने के लिए समय पर बीज उपलब्ध नहीं होता है। ग्रामीणों ने बताया कि मूलभूत समस्याओं से सालों से परेशान हैं परंतु कोई सुनने वाला नहीं है।