राज्य शिक्षा केंद्र ने इस बार यूनिफार्म तैयार करने के लिए स्व सहायता समूहों को जिम्मेदारी दी थी।

भोपाल (राष्ट्र आजकल प्रतिनिधि): बच्चों को गणवेश सितंबर से वितरण होना शुरू होना था। सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों को अब तक गणवेश नहीं मिल सका है।
पिछले साल एक बच्चे को दो गणवेश के लिए 600 रुपये की राशि दी गई थी। इस बार फिर से गणवेश दिया जा रहा है। सरकारी स्कूलों के पहली से आठवीं तक के बच्चों के लिए 70 लाख गणवेश तैयार करने के लिए 510 करोड़ रुपये की राशि स्वीकृत की गई है। गणवेश की सिलाई का काम पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग, महिला एवं बात विकास विभाग और नगरीय विकास एवं पर्यावरण विभाग के अंतर्गत संचालित होने वाले स्वसहायता समूहों को दिया जाना था।
इन समूहों को अगस्त तक गणवेश तैयार करना था, लेकिन अब तक स्व सहायता समूहों का चयन नहीं हो पाया है।
2010 में विद्यार्थियों को सिली हुई गणवेश की जगह 400 रुपये चेक के माध्यम से देने का फैसला लिया गया है। 2018 में फिर चेक की जगह से गणवेश देने का फैसला लिया गया। उस समय गणवेश की साइज को लेकर अनियमितता नजर आई। इसके बाद फिर से 2019 में राशि दी गई। राज्य शिक्षा केंद्र के अधिकारियों का कहना है कि कई जिलों को राशि का भुगतान कर दिया गया है। इसके बावजूद अब तक गणवेश तैयार करने के लिए स्व सहायता समूहों का चयन ही नहीं हो पाया है।