राष्ट्र आजकल प्रतिनिधि। शारीरिक निष्क्रियता बढ़ाने वाली यह आदत न सिर्फ वजन बढ़ने का कारण बनती है साथ ही इसका रक्तचाप पर भी नकारात्मक असर देखा गया है। यही कारण कि विशेषज्ञ सभी लोगों, विशेषकर ऑफिस में काम करने वालों को थोड़ी-थोड़ी देर पर सीट से उठकर वॉक करने की सलाह देते हैं। लॉग सिटिंग के कई दुष्प्रभाव हो सकते हैं, हाल ही में किए गए एक अध्ययन में शोधकर्ताओं ने इसके मानसिक स्वास्थ्य पर होने वाले दुष्प्रभावों को लेकर लोगों को सावधान किया है। लॉन्ग सिटिंग किस प्रकार से शरीर और मस्तिष्क को प्रभावित करती है, इस बारे में जानने के लिए सेमल इंस्टीट्यूट फॉर न्यूरोसाइंस एंड ह्यूमन बिहेवियर के वैज्ञानिकों ने एक अध्ययन किया। इसके लिए 45-75 की आयु वाले 35 प्रतिभागियों को शामिल किया गया। इन लोगों से उनकी शारीरिक गतिविधि और दिन में कितने घंटे बैठे रहते हैं, इस बारे में पूछा गया।
स्थिति मध्यम आयु वर्ग और वृद्ध लोगों में मस्तिष्क की कार्यक्षमता को प्रभावित करने के साथ डेमेंशिया के जोखिम को भी बढ़ा सकती है। डेमेंशिया दिमाग की बनावट में बदलावों के परिणामस्वरूप होने वाली समस्या है जिससे स्मृति, सोच तथा मनोभाव पर असर हो सकता है। प्रमुख लेखक प्रभा सिद्धार्थ बताते हैं, हमने पाया है कि अगर आप व्यायाम भी करते हैं और लंबे समय तक बैठने की आदत है तो भी इस तरह के दुष्प्रभावों के शिकार हो सकते हैं। आपको दिन में 8 घंटे ऑफिस में काम करना होता है तो कोशिश करें कि बैठने की बजाय ज्यादा देर खड़े होकर काम करें। इससे रक्त संचार को बेहतर बनाए रखने में मदद मिलती है और मस्तिष्क के साथ अन्य शरीरिक दुष्प्रभावों को भी कम किया जा सकता है। थोड़ी-थोड़ी देर पर सीट से उठकर वॉक करने की आदत बनाएं।