राष्ट्र आजकल प्रतिनिधि। संकष्टी चतुर्थी भगवान गणेश का दिन है। इस वर्ष पौष माह में 22 दिसंबर के दिवस चतुर्थी का व्रत रखा जाएगा जानते हैं संकष्टी चतुर्थी का शुभ मुहूर्त और पूजन विधि। संकष्टी चतुर्थी के दिन सूर्योदय से पहले उठें और स्नान कर साफ कपड़े पहनें। अगर हो सके तो लाल रंग के वस्त्र पहने। ये बेहद शुभ होता है। इसके बाद भगवान गणपति की पूजा करें। गणेश जी को फल और फूल अर्पित करें। मंत्र ‘गजाननं भूत गणादि सेवितं, कपित्थ जम्बू फल चारू भक्षणम्, उमासुतं शोक विनाशकारकम्, नमामि विघ्रेश्वर पाद पंकजम्’ का 108 बार जाप करें। 22 दिसंबर, 2021 बुधवार पूजा मुहूर्त: रात 08 बजकर 15 मिनट से 09 बजकर 15 मिनट तक चंद्र दर्शन मुहूर्त: रात 08 बजकर 30 मिनट से रात 09 बजकर 30 मिनट तक संकष्टी चतुर्थी में चांद रात 08 बजकर 12 बजे उदय होगा। इस दिन चंद्रमा के दर्शन करना शुभ माना जाता है। मान्यता के अनुसार बिना चंद्र दर्शन के व्रत अधूरा रहता है। इस दिन चंद्र को जल अर्पित करने के बाद उपवास तोड़ा जाता है।